भाजपा के सुशासन दावे की खुली पोल फर्जीवाड़े मामले में न्यायालय का आदेश नेपा विधायक कस्डेकर पर हो एफ आई आर

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बुरहानपुर (अकील ए आज़ाद) स्वच्छ और सुशासन का दावा करने वाली भाजपा के विधायक स्वयं फर्जीवाड़ा कर रहे हैं ऐसा ही एक मामला नेपानगर विधायक सुमित्रा काज़डेकर का सामने आया है जहां एक निजी परिवाद में बुरहानपुर की अदालत ने उन पर एफ आई आर दर्ज करने के आदेश दिए हैं नेपानगर विधायक 2020 के उपचुनाव में फर्जी जाली प्रमाण पत्र के साथ जन्म प्रमाण पत्र और शैक्षणिक योग्यता के जाली दस्तावेज के साथ शपथ पत्र चुनाव के समय प्रस्तुत किया गया तथा गैस एजेंसी लेते समय जन्मतिथि और शैक्षणिक योग्यता अलग बता कर फर्जीवाड़ा किया है इसका खुलासा शुक्रवार को आर टी आई कार्यकर्ता एवं समाजसेवी बालचंद शिंदे और उनके अधिवक्ता जहीरूद्दीन शेख ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर मीडिया के समक्ष बताया निजी परिवाद करता बालचंद शिंदे के इस परिवाद में बुरहानपुर न्यायालय ने खकनार पुलिस को आदेश दिया है कि वह नेपानगर विधायक सुमित्रा काज़डेकर के खिलाफ फर्जीवाड़े का मामला दर्ज करें जिसकी पुष्टि जिला पुलिस अधीक्षक राहुल कुमार ने मीडिया के समक्ष की है ज्ञात हो कि विधानसभा के चुनाव में सुमित्रा काज़डेकर कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ कर विधानसभा पहुंची थी परंतु 18 माह बाद भाजपा के षड्यंत्र के चलते कांग्रेस की सरकार गिरने के बाद 2020 में हुए उपचुनाव में सुमित्रा काज़डेकर कांग्रेस का हाथ छोड़कर भाजपा का दामन थामा था और उपचुनाव में भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ा तथा विधायक बनी क्योंकि अब न्यायालय ने जाली प्रमाण पत्र जन्म प्रमाण पत्र और शैक्षणिक योग्यता के प्रमाण पत्रों में फर्जीवाड़ा कर चुनाव जीता है ऐसे में एफ़ आई आर होने पर उन्हें अपने पद से हाथ धोना पड़ेगा वहीं इस मामले के बाद भाजपा के सुशासन की पोल भी खुलकर सामने आ गई है भाजपा का सुशासन का दावा खोकला सिद्ध होता नजर आ रहा है स्वयं भाजपा की विधायक ने चुनाव के समय अपनी शैक्षणिक योग्यता और जन्म तिथि अलग बताई है तो गैस एजेंसी लेते समय अपनी शैक्षणिक योग्यता और जन्म तिथि अलग बताई है जिससे फर्जीवाड़ा सिद्ध होता है बुरहानपुर न्यायालय ने इसी के चलते निजी परिवाद में उनके खिलाफ एफ आई आर दर्ज करने का आदेश पारित किया है।

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