डीजे भी बजे पारंपारिक रूठ भी रहा बरकरार बड़ी प्रतिमाओं का हुआ विसर्जन

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बुरहानपुर (अकील ए आज़ाद) गणेश विसर्जन को लेकर प्रशासनिक दृष्टिकोण से छोटी एवं बड़ी प्रतिमाओं के लिए अलग.अलग रूट निर्धारित कर व्यवस्था की गई थी ताकि प्रतिमाओं का चल समारोह निकलकर विसर्जन हो सके इसके लिए प्रशासन द्वारा छोटी प्रतिमाओं को राजघाट सत्यारा घाट नागझरी घाट से विसर्जन किया जाना था तथा बड़ी प्रतिमाओं को हतनूर ताप्ती घाट से विसर्जित होना था इसके साथ ही चल समारोह में डीजे भी प्रतिबंधित किया गया था प्रशासन की इस व्यवस्था पर गणेश मंडलों के द्वारा नाराजगी जताते हुए पारंपरिक रूप से विसर्जन की मांग कलेक्टर से की गई थी जिसके बाद शनिवार तड़के छोटी एवं बड़ी प्रतिमाओं का चल समारोह पारंपरिक रूप से निकला जिसमें डीजे की धुन पर युवा खूब थिरके शनिवार तड़के से निकला चल समारोह मंडलों की सुविधा अनुसार राजघाट सहित हतनूर घाट से देर शाम तक प्रतिमाएं विसर्जित की गई जिसके चलते फिर एक बार लंबे समय तक विद्युत सप्लाई बाधित रही कोरोना की पाबंदियां हटने से दो वर्ष बाद गणेश उत्सव खुले मन से मनाया गया जिसमें खूब रौनक देखने को मिली दो दिनों तक चलने वाले विसर्जन के लिए जिला एवं पुलिस प्रशासन के द्वारा सुरक्षा के कड़े प्रबंध किए गए थे नदी के घाटों पर सुरक्षा की दृष्टि से होमगार्ड के गोताखोरों की भी व्यवस्था की गई थी।

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